सुब्रह्मण्यम स्वामी ने फिर कहा है कि भारत सरकार मेरे दावे को स्वीकारे और यदि असत्य हो तो खारिज करे. और करवाई भी. पर क्यों मोदी सरकार राहुल पर स्त्यास्त्य का नीर क्षीर नहीं कर रही.क्या कोई अंतर्राष्ट्रीय दबाव है? यदि नहीं तो देश में विपक्ष के नेता का चरित्र हनन के आरोपी पर भी न्याय संहिता की परिधि में कार्यवाई हो.
आखिर स्वामी के विचार पर क्यों कुछ नही हो रहा, गंभीर बात तो यही है कि लोकसभा में विदेशी नागरिक कैसे बैठ सकता है?
भारत सरकार और गृह मंत्रालय क्या कर रहा है, जबकि वह काफी समय से यह दावा कर रहे हैं?
अगर राहुल गांधी ब्रिटिश नागरिक हैं, तो उन्हें सजा मिलनी चाहिए!
अगर राहुल गांधी भारतीय नागरिक हैं, तो उनकी छवि खराब नहीं होनी चाहिए!
सरकार को जल्द से जल्द कार्रवाई करनी चाहिए और स्पष्टीकरण देना चाहिए।