मोदी जी!कहीं यह महामारी चीन का जैविक हथियार तो नहीं ???

 बस्ती

भारत सरकार को इस दिशा में


भी काम करना चाहिये कि यह विषाणु जन्य वायरस कोविड19 चीन का सोचा समझा जैविक आक्रमण तो नहीं!सरकार के वैज्ञानिक,नीतिकार,रणनीतिकार,निति आयोग को भी अपना कान खड़ा करना और रखना भी चाहिए. जिस तरह विपक्ष कोरोना को रणनीतिक हथियार बनारहा है !उसका  भी अध्ययन आवश्यक है.

चीन की विस्तार वादी नीति का हिस्सा है कि जनता के व्यामोह को भटकाया जाय और विस्तार वाद से देश भक्ति को जोड़ कर देखा जाय.संलग्न खबर से यही स्पष्ट होता है कि अपने ऊपर विश्व का ध्यान भटकाने में कोरोना  का जैविक हथियार के रूप में प्रयोग होसकता है.


यद्द्यपि किसी पर बिना प्रमाण शक करना कोई कारण नही दर्शाता,पर आत्म समीक्षा तो केंद्र के रणनीतिकार व बीजेपी नेताओं को भी करना चाहिए.जी प्रकार एकाएक विपक्ष के आक्रमण तेज हुआ है और मोदी के नेरेत्रित्व पर सवालिया निशान लगाया जा रहा है ,अखबार की इस कतरन पर विचार करना चाहिये.मुझे विश्वास है कुछ न कुछ अवश्य निकले गा ,जैसे बोतल से जिन्न.

आस्ट्रेलियाई अख़बार की इस रिपोर्ट में नए जेनेटिक हथियार को भी देखने और समीक्षा में कोई हर्ज किसी

देश वासी को नही होना चाहिए.

आखिर हम भयंकर और प्रलयंकर त्राशदी से गुजर ही रहे हैं, सरकार और सरकारी तंत्र अपनी तंद्रा से  उठे और अनेक भारतीयों के मन मे उठ रहे परिस्थिति जन्य झंझावात से मुक्ति दिलाये.संसय पर विराम जनता का अधिकार है.


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